लेखपालों की अब खैर नहीं, चार निलंबित

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गाजीपुर- हड़ताली लेखपालों पर अब जिला प्रशासन की भृकुटि टेढ़ी हो गई है। सदर एसडीएम शिवशरणप्पा ने गुरुवार को लेखपाल संघ के अध्यक्ष व महामंत्री सहित चार लेखपालों को निलंबित कर दिया। बावजूद इसके उनके तेवर नहीं बदले हैं। ऐसे में माना जा रहा है कि आने वाले दिनों में जिला प्रशासन और लेखपालों की रार और बढ़ सकती है। निलंबित होने वालों में जिला मंत्री रामलखन राम, सदर तहसील अध्यक्ष उदय प्रताप यादव, सदर तहसील मंत्री रमेश राम सहित एक अन्य लेखपाल प्रशांत कुमार सिह शामिल हैं।

आठ सूत्री मांगों को लेकर तीन जुलाई से लेखपाल सभी तहसील मुख्यालय पर आंदोलित हैं। काम काज प्रभावित देख जिला प्रशासन ने अब सख्त रुख अपना लिया है। इससे पहले सदर तहसील के सभी लेखपालों का वेतन रोका जा चुका है और उन्हें नोटिस भी जारी की गई थी। स्पष्टीकरण देने के लिए तीन दिन का समय दिया गया था लेकिन उनका कोई जवाब नहीं आया। इसके बाद निलंबन की कार्रवाई शुरू हुई है। एसडीएम ने बताया कि लेखपालों के हड़ताल से जरूरी शासकीय व आम लोगों के काम प्रभावित हो रहे हैं। चेतावनी देने के बाद भी वह अभी तक काम पर नहीं लौटे हैं। इसके बाद भी हड़ताल वापस नहीं होगी तो और सख्त कार्रवाई की जाएगी। इसी क्रम में सैदपुर एसडीएम सत्यम मिश्र ने बताया कि सभी लेखपालों का वेतन रोका गया है और उन्हें शुक्रवार से काम पर लौटने की हिदायत दी गई है। अगर नहीं लौटे तो आगे की कार्रवाई होगी। मुहम्मदाबाद तहसीलदार रामाश्रय ने बताया कि लेखपाल संघ के पदाधिकारियों के खिलाफ निलंबन की कार्रवाई की जा सकती है। कासिमाबाद एसडीएम भवानीदीन ने बताया कि दो पदाधिकारियों के खिलाफ निलंबन की कार्रवाई चल रही है। जमानियां तहसीलदार आलोक कुमार ने बताया कि लेखपाल सुहवल रामराज राम का निलंबन किया गया है।

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