Ghazipur news:सभी के पत्नियों का दर्द अलग-अलग लेकिन समाधान समझौता

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गाजीपुर-परिवार परामर्श केंद्र पुलिस लाइन गाजीपुर के प्रांगण में पुलिस अधीक्षक ओमवीर सिंह के कुशल निर्देशन में कुल नौ परिवारिक विवाद प्रस्तुत हुए। इसमें जोहरा खातून पत्नी रियाजुद्दीन निवासी पारा थाना नोनहरा जनपद गाजीपुर की शिकायत थी कि उसके पति, सास और ननद के कहने पर हमेशा मारपीट करते रहते हैं. इस पर पति और ससुराल पक्ष को समझा-बुझाकर जोहरा खातून का विदाई कराया गया। मनसा प्रजापति पत्नी अंगद प्रजापति निवासी पांडेपुर थाना विरनों की कि शिकायत थी कि उसके पति उसके चरित्र पर हमेशा शक करते रहते हैं। इस पर पति-पत्नी दोनों को समझा कर विदाई कराई गई।नुसरत जहां पत्नी बदरुद्दीन निवासी नवली थाना सुहवल जनपद गाजीपुर की शिकायत थी कि उसके पति हमेशा बाहर ही रहते हैं और सास, ननंद हमेशा उसके साथ लड़ाई करती रहती हैं, फिर भी वह अपने ससुर मुन्ना के साथ अपने ससुराल नवली जाने के लिए तैयार हो गई। पति को भी मोबाइल के माध्यम से समझौता कराकर विदाई करवाई गई। रानी देवी पत्नी अजय कुमार सिंह निवासी रामपुर बंतरा थाना नंदगंज की शिकायत थी कि जब भी उसकी तबीयत खराब हो जाती है तो पति तथा ससुराल के लोग उसका इलाज नहीं कराते हैं।जिसके कारण उसे मायके से आर्थिक सहयोग लेना पड़ता है। इस पर पति और ससुराल पक्ष के लोगों को समझा कर विदाई कराया गया। अम्रता पत्नी दिलीप कुमार निवासी गौशाबाद थाना कोतवाली सदर की शिकायत थी कि उसके पति हमेशा उसके साथ मारपीट करते रहते हैं। इस पर पति और ससुराल पक्ष के लोगों को समझा-बुझाकर विदाई करवाया गया। किरण गुप्ता पत्नी सोनू कुमार निवासी रामगढ़ थाना अवतार जनपद सारण बिहार के मामले में प्रतिवादी किरण गुप्ता उपस्थित नहीं थी। आंचल पटवा पति शत्रुघन भटवा निवासी सुलेमापुर देवकली थाना मरदह की शिकायत है कि उसके पति उसकी शिक्षा में अवरोध डालते हैं। इस पर पति को समझा कर उसकी पति के साथ विदाई कराया गया। सरिता जयसवाल पत्नी रोशन जयसवाल निवासी रानी चौक पश्चिम बाजार थाना सैदपुर जनपद गाजीपुर की शिकायत थी कि उसके पति तथा ननद दोनों लोग मिलकर उसे शारीरिक व मानसिक प्रताड़ना देते हैं। इस पर दोनों को समझा कर इसकी विदाई कराई गई।संगीता पत्नी विनोद यादव निवासी गौरा थाना सुहवल गाजीपुर की शिकायत थी कि उसके पति पंचों के समझाने के बाद भी नहीं समझ रहे हैं। इसलिए मेरे मामले को माननीय न्यायालय में बिचार हेतू भेज दिया जाए। इस पर विधिक कार्रवाई का सुझाव देते हुए प्रकरण को बंद कर दिया जाए। इन सभी मामलों के निस्तारण में सरदार दर्शन सिंह, वीरेंद्र राम, महिला प्रकोष्ठ प्रभारी अनीता सिंह, आरक्षी ओलश कुमार, महिला होमगार्ड उर्मिला गिरी आदि लोग प्रमुख थे।

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