गाजीपुर-दबंग कोटेदार की दुकान हुई सीज

गाजीपुर-बाराचवर विकास खण्ड के खारा गाँव में राशन की दूकान पर पिछले कुछ दिनों से लगातार स्थिति बदतर दिख रही है ।ग्रामीणों ने अजय कुमार सिंह (पूर्व ग्राम प्रधान खारा एवं महामंत्री श्री राजपूत करणी सेना) की अगुवाई में एसडीएम कासिमाबाद को शिकायती पत्र सौंपा। जिसमे तकरीबन सवा सौ लोगों के हस्ताक्षर हैं। सबने शिकायत पत्र में लोगों ने आरोप लगाया है कि कोटेदार कई पात्र गृहस्थी में शामिल लोगों को राशन नहीं देता है,उनका अंगूठा लगवा लेता है लेकिन कभी भी राशन नहीं देता है। इतना ही नहीं कोटेदार के घर का तीन कार्ड बना हुआ है जिसमे से एक तो अन्त्योदय कार्ड भी है ।
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वृहस्पतिवार को तकरीबन डेढ़ सौ लोग एक जगह इकट्ठे हो गये और मीडिया के सामने अपने साथ होने वाले चोरी का खुलासा भी किया।इससे पहले कई अख़बारों में भी यहाँ के कोटेदार के गड़बडझाले की खबरें लग चुकी है। ग्रामीणों को कहीं से सूचना मिली की वीडीओ बाराचवर राशन के कोटे की दुकान की जाँच करने के लिए आ रहे है,लेकिन ब्लाक से सिर्फ सचिव ही आये।जिसके बाद सैकड़ों की संख्या में ग्रामीण अपने अपने राशन कार्ड के साथ स्थानीय प्राथमिक पाठशाला पर इकट्ठे हो गये। हालाँकि लोगों ने सोशल डिस्टेंसिंग का पालन किया था और लोग दूर-दूर बैठे हुए थे, लेकिन ब्लाक अधिकारीयों की लापरवाही तो यहाँ भी नजर आई क्योंकि लॉक डाउन में जाँच करने आने से पहले उन्हें पुलिस अधिकारीयों को भी साथ लेना चाहिए था। लेकिन उन्होंने ऐसा नहीं किया । यदि कोई कोरोना संक्रमित व्यक्ति होता और भगदड़ हो जाती तो कुछ लोगों को शारीरिक चोट के साथ ही संक्रमित होने का ख़तरा भी था। ये और बात थी कि जनता जागरूक थी और लॉक डाउन में भी सोशल डिस्टेंसिंग का पालन कर रही थी।


तभी डायल 112 आ गयी लेकिन सबके सोशल डिस्टेंसिंग का पालन करते हुए देखकर डायल 112 भी मूर्त लेकर खड़ी रही। फिर शुरू हुआ आरोप प्रत्यारोप का दौर जिसमे कोटेदार पुत्र ने पूर्व प्रधान अजय कुमार सिंह पर आरोप लगाया कि वह अपने कार्यकाल मे एमडीएम का राशन हमशे बेचवाकर हमसे रूपया लेते थे।इसके साथ साथ हम से दस हजार रूपया महीना भी लेते थे।कोटेदार ने यह भी कहा है कि अजय कुमार सिंह ने हमसे 4 बोरी चावल गरीबों में बांटने के लिए मांगा था, जिसे हमने देने से मना कर दिया जिसकी वजह से वह ये सब कर रहे हैं।

मै खुद ही 10 परिवारों को बिना कार्ड धारकों को बिना कार्ड और बिना पैसा लिए ही राशन देता हूँ ।
वहीँ पूर्व प्रधान अजय कुमार सिंह ने कहा कि कोटेदार लोगों को यूनिट के हिसाब से राशन कम देता है जिसकी वजह से आज जनता लामबंद हुई है।जनता का यदि कोई खून चुसेगा उसका हक लूटेगा तो जनता सडक पर तो आएगी ही। उन्होंने यह भी कहा कि जो मुझपर प्रति माह 10 हजार रूपये लेने का आरोप है यह आरोप पूरी तरह से गलत है कोटेदार इस आरोप पर माफी मांगे और कहे कि ऐसा नहीं था अन्यथा मैं इसके खिलाफ हम मानहानि का दावा करूँगा।

जो भी हो कोटेदार और पूर्व प्रधान के बयानों से यह तो जाहिर हो ही रहा है कि राशन की यह धांधली बहुत सालों से चल रही थी। किसी न किसी बात को लेकर अनबन होने के बाद ही ऐसा मामला अब खुलकर आ रहा है और ग्रामीणों भी खुलकर लॉकडाउन में कोटेदार के विरोध में उठ खड़े हुए हैं ।वहीँ कुछ प्राप्त वीडियोज में कोटेदार यह कहते पाए गये हैं कि प्रति यूनिट एक किलो राशन काटा ही जाता है। वहीँ कुछ रिकॉर्डिंग्स को सुनने पर पता चला है कि कोटेदार यूनिट पर कम राशन देता है यह पुष्टि होती है।

हो हल्ला होने के बाद जांच पुरी नही हो पाई।और ब्लाक टीम वापस चली गयी।फिर शुक्रवार को शुशील कुमार सिंह सप्लाई इस्पेक्टर, ग्रामपंचायत विकास अधिकारी अजय कुमार सिंह, जितेन्द्र कुमार एडियो कोआपरेटिव जांच मे पहुचे।पच्चीस कार्ड धारको का बयान दर्ज हुआ।अप्रैल माह का लेखा जोखा मेनटेन नही था।तराजू फिगर लगाने वाली स्वाईप मशीन साथ ले गये।तथा दुकान को सीज कर दिया गया।इस सम्मबंध मे खण्डविकास अधिकारी शुशील कुमार सिंह से पुछनेपर उन्होने बताया की खारा गांव के कोटे की दुकान की जांच हुई है।जांच रिपोर्ट एस डी एम कासिमाबाद को दे दी गयी है।इस दौरान बाराचवर चौकीईचार्ज प्रदीप सिंह अपने हमराहियो के साथ मौजूद रहे । विडिओ देखने के लिए यूट्यूब का लिंक देखें।https://www.youtube.com/c/GhazipurToday

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