तो क्या लालू यादव के बाद , अब अखिलेश है शाहऔर मोदी के निशाने पर ?

लखनऊ – उत्तर प्रदेश के विधान भवन मे बिस्फोटक पदार्थ का मिलना , राजनैतिक साजिस है या आतंक वादी साजिस है यह निष्पक्ष जाँच का विषय है। निष्पक्ष जाँच शब्द का प्रयोग मैने इस लिये किया है कि भारत मे जाँच भी देश प्रदेश के मुखिया के इशारे व इच्छा के अनुरूप होती है। भारतीय जनता पार्टी और आर.एस.एस.यह अच्छी तरह से जानते है कि विहार मे जब तक लालू और नितीस एक साथ है तब तक भाजपा विहार मे कभी सफल नही होगी। उत्तर प्रदेश मे जिस दिन समाजवादी पार्टी और बहुजन समाज पार्टी एक हो कर चूनाव लडेंगे , उस दिन उत्तर प्रदेश मे भाजपा गर्त मे चली जायेगी। विधान भवन मे बिस्फोटक पदार्थ का मिलना और ए.टी.एस. का सपा विधायकों को निशाने पर लेना कही विहार की कहानी का दुहराव तो नही है ?

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