गाजीपुर- उत्तर प्रदेश मे जब जब भारतीय जनता पार्टी की सरकार पदारूढ़ होती है , अधिकारी और कर्मचारी बेलगाम हो जाते है। सरकारी कर्मचारी और अधिकारी अन्य राजनैतिक दल के कार्यकरताओं की तो छोडिये सत्तारूढ़ भाजपा कार्यकर्ताओं की भी जायज पैरवी को भी नजरअंदाज करने से नहीं चुकते है। ताजा वाकया सैदपुर के दंत चिकित्सक धर्मवीर के पिता श्री शेषनाथ प्रसाद से जूडा हुआ है। शेषनाथ प्रसाद वाराणसी मे एल.आई.सी. मे डी.ओ.के पद पर कार्य करते है। वे वाराणसी से अपने वाहन से सैदपुर आ रहे थे ,अचानक आगे चल रहे वाहन ने औडिहार से के पुर्व, ब्रेक मार कर गाडी को रोक दिया। आचानक बिना किसी संकेत के अगली गाडी के रूकने से पिछली गाडी जिससे शेषनाथ प्रसाद बैठे थे , लडते लडते बची। ड्राइवर की इस लापरवाही से नाराज शेषनाथ प्रसाद अपनी गाडी से उतरे और अगली गाडी के ड्राइवर को डांटते हुए नाराजगी जाहिर करने लगे। अगली गाडी मे सी.ओ. सैदपुर की बिटिया बैठी थी और गाडी सी.ओ.सैदपुर का ड्राइवर चला रहा था। अपने ड्राइवर को नसीहत देने से नाराज सी.ओ. की बिटिया ने अपने पापा को फोन किया. सी.ओ.पापा तत्काल अपनी सरकारी गाडी मे बैठे और जौहरगंज के पास पंहच कर शेषनाथ प्रसाद की गाडी को रोके और शेषनाथ प्रसाद का कालर पकड कर बाहर खिंचा और बाहर आने पर , दनादन उनके चेहरे पर चार,-पाँच घुंस्सा जड दिया। चेहरे पर घुंस्सा लगाने से प्रसाद के नांक से रक्त बहने लगा। सी.ओ.का क्रोध इतने पर भी शांत नहीं हुआ , सी.ओ.ने गाड़ी मे बैठे शेषनाथ प्रसाद, बच्चों और उनकी पत्नी को भी सैदपुर कोतवाली मे बैठा लिए। इस बात की जानकारी उनके दंत चिकित्सक पुत्र धर्मबीर को हुई तो उन्हो इस घटना की जानकारी ज्वाइंट मेडिकल फोरम के मनीष राय को दिया। मनीष राय ने तत्काल इस घटना से पुलिस अधीक्षक गाजीपुर को दिया। पुलिस अधीक्षक के हस्तक्षेप से शेषनाथ प्रसाद ,बच्चे और पत्नी को कोतवाली से मुक्त किया गया। ज्वाइंट मेडिकल फोरम ने सी.ओ. सैदपुर सर्वेश मिश्रा की लिखित सिकायत पुलिस अधीक्षक से किया। पुलिस अधीक्षक ने मामले की जाँच के लिये एस.पी.सीटी प्रदीप कुमार को नामित किया है।
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